भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन के कोख से जन्मी आम आदमी पार्टी के दामन पर लगा है 500 करोड़ की रिश्वत का दाग | जिस पर उंगली उठाने वाला कोई और नहीं बल्कि पार्टी के संस्थापक जुड़वा भाइयों में शामिल रहे कुमार विश्वास हैं | जिनहोने अपने ट्वीट में बिना नाम लिए आरोप लगाया है कि 2016 में उनके पास आए शराब माफियाओं को उन्होने शराब नीति में मनमाने बदलाव कराने की कोशिशों को ठुकरा दिया था आज गली गली में 1000 ठेके खुलवाकर उसी नीति को अपनाने का अपराध किया है दिल्ली सरकार ने |
यूं तो नए साल के आगाज के साथ ही दिल्ली में अरविंद केजरीवाल की सरकार की तरफ से लागू नई शराब पॉलिसी के विरोध में आंदोलन शुरू हैं | लेकिन आज आप पार्टी की सरकार पर सबसे तगड़ा वार किया है उनके आंदोलन के दिनों के साथी और पार्टी के संस्थापक सदस्यों में शामिल रहे कुमार विश्वास ने | विश्वास ने इस पॉलिसी को लागू करने पीछे 500 करोड़ की रिश्वतखोरी का आरोप लगाया है। अपने ट्वीट में उन्होने लिखा, ’’पीने वालों की उम्र 21 से घटाकर 18 वर्ष करने और 1000 नए ठेके खुलवाने की पॉलिसी लागू करने की सिफारिश लेकर 2016 में दिल्ली शराब माफिया, दारू जमाखोर विधायक के साथ मेरे पास आया था। जिसे मैंने दुत्कार कर भगाया था और दोनों नेताओं को चेताया था। अब छोटे वाले के साले ने 500 करोड़ की डील में मामला सेट कर लिया।’’ हालांकि विश्वास ने अपने ट्वीट में किसी का नाम नहीं लिया है लेकिन इशारा आईने की तरह एकदम साफ है | पोस्ट में दोनों नेताओं शब्द का इस्तेमाल दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और डिप्टी CM मनीष सिसोदिया के लिए इस्तेमाल किया है। साथ ही छोटे वाले से उनका आशय सिसोदिया से है |
दरअसल दिल्ली सरकार ने नई शराब पॉलिसी में बड़े बदलाव किए हैं जिनमे प्रमुख है सरकारी ठेकों के बजाय निजी वाइन शॉप्स को बढ़ावा देते हुए 1000 नई दुकानों को खोलना जिसके तहत अब तक दिल्ली में 849 शराब की नई दुकानें खोली गई हैं। साथ ही शराब पीने की उम्र भी 21 साल से घटाकर 18 साल करना माफियाओं के दबाब में किया गया है। इस नई पॉलिसी के विरोध में विपक्ष, विशेषकर भाजपा भी विरोध कर रही है। उन्होने तो केजरीवाल पर 2000 करोड़ रुपए की रिश्वत लेने का आरोप लगाया है । लेकिन राजनीति का दोगलापन देखिये, एक और केजरीवाल पंजाब जाकर शराबबंदी करने का वादा कर रहे हैं, वहीं इसके उलट दिल्ली में शराबखोरी को बढ़ावा दे रहे हैं।